आकाश - शव्द
वायु - स्पर्श
तेज - रूप
जल - रस
प्रथ्वी - गंध
लेकिन हर अगले मैं पिछले का गुण भी रहता है
आकाश - मैं केवल शव्द
वायु मैं - शब्द, स्पर्श
तेज मैं - शब्द, स्पर्श, रूप
जल मैं - शब्द, स्पर्श, रूप, रस
प्रथ्वी मैं - शब्द, स्पर्श, रूप, रस, गंध भी है
JAI SHRI RADHE
DASABHAS Dr GIRIRAJ nangia
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